चंडीगढ़, 12 दिसंबर। पंजाब सरकार गांवों में अलग-अलग श्मशान घाटों की जगह एक साझा श्मशान घाट बनाने वाले 29 गांवों को 5-5 लाख रुपए की ग्रांट जारी करेगी।
ग्रामीण विकास एवं पंचायत मंत्री लालजीत सिंह भुल्लर ने इस प्रस्ताव पर मुहर लगा दी है।
भुल्लर ने बताया कि 1 करोड़ 45 लाख रुपए की अनुदान राशि फतेहगढ़ जिले के गांव शहीद गढ़, सैंपला, मुहम्मदीपुर, धतौंदा और धनौला, पठानकोट के गांव घोह, रोपड़ के गांव झल्लियां कलां, रामपुर और गोपालपुर, संगरूर के गांव खाई, पटियाला के गांव हरचन्दपुरा, गज्जूमाजरा, सनौलियां और सुक्खेवाल, तरन तारन के गांव किडियां, चंबल, डलीरी, माड़ी समरां और जवन्दपुर, ज़िला एस.ए.एस नगर के गांव महरौली और ढकोरा कलां, जिला अमृतसर के गांव छन्न घोगा व मुमन्द और जिला लुधियाना के गांव रब्बों नीची, खानपुर मंड, जुलफगढ़, कीड़ी, नया सलेमपुरा और गाँव भाडेवाल को जल्द ही जारी की जाएगी।
मंत्री ने बताया कि राज्य में बहुत से गांव ऐसे हैं, जहाँ अलग-अलग धर्मों-आबादियों के लिए अलग-अलग शमशानघाट हैं और इनमें से कोई भी शमशान घाट मुकम्मल रूप में विकसित नहीं है। उन्होंने बताया कि पंजाब सरकार की योजना के अनुसार एक से अधिक श्मशान घाट वाले गाँवों में से अगर किसी गाँव की पंचायत एक श्मशान घाट बनाने का फ़ैसला करती है तो सरकार उस गांव को 5 लाख रुपए की विशेष ग्रांट देगी। उन्होंने कहा कि पंचायत अनुदान राशि को संबंधित श्मशान घाट के विकास के लिए ख़र्च कर सकती है या पुराने शमशान घाट वाले स्थानों को अन्य मंतव्यों जैसे पार्कों आदि में तबदील करने के लिए इस्तेमाल कर सकती है।
उन्होंने उम्मीद जताई कि सरकार के इस प्रयास से गांव में आपसी-भाईचारे को भरपूर प्रोत्साहन मिलेगा।