पंजाब का पहला इंस्टीट्यूट ऑफ लिवर एंड बिलियरी साइंसेज तैयारपंजाब का पहला इंस्टीट्यूट ऑफ लिवर एंड बिलियरी साइंसेज तैयार

चंडीगढ़, 28 फरवरी। राज्य में विश्व स्तरीय स्वास्थ्य सुविधाएं सुनिश्चित बनाने सम्बन्धी प्रतिबद्धता के अंतर्गत मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान गुरुवार को पंजाब का पहला इंस्टीट्यूट ऑफ लिवर एंड बिलियरी साइंसेज, एस.ए.एस. नगर लोगों को समर्पित करने के लिए पूरी तरह से तैयार हैं। ज़िक्र योग्य है कि सरकार ने बजट सेशन- 2022 में इस संबंधी ऐलान किया था।     एस.ए.एस. नगर के फेज बी-1 में स्थापित यह संस्था हैपेटॉलजी के क्षेत्र में सुपर-स्पेशियलिटी केयर, प्रशिक्षण और अनुसंधान सम्बन्धी अति-आधुनिक बुनियादी ढांचे से लैस है। इस इंस्टीट्यूट की स्थापना 40 करोड़ रुपए से अधिक की लागत के साथ की गई है और इसमें 80 डॉक्टर, 150 स्टाफ नर्स और 200 ग्रुप-डी कर्मचारियों समेत 450 के करीब स्टाफ होगा। प्रोफेसर वरिन्दर सिंह, जो कि हैपेटॉलजी पीजीआई, चंडीगढ़ के पूर्व प्रोफेसर और प्रमुख हैं, को संस्था का डायरेक्टर नियुक्त किया गया है।    पंजाब के स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्री डॉ. बलबीर सिंह ने इस प्रतिष्ठित संस्था के कार्य को पूरा करने के लिए मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान द्वारा दिए सहयोग के लिए तहेदिल से धन्यवाद करते हुए कहा कि नयी दिल्ली के बाद पंजाब देश का ऐसा दूसरा राज्य होगा जहां लीवर और बिलियरी रोग के मरीजों के लिए विशेष तौर पर इंस्टीट्यूट होगा। बताने योग्य है कि इस इंस्टीट्यूट की स्थापना की इंस्टिट्यूट ऑफ़ लिवर एंड बिलियरी साइंसेज (आई.एल.बी.एस.), नयी दिल्ली की तरह किया गया है।   जिक्र योग्य है कि यह संस्था पिछले 8 महीनों से ओ.पी.डी. सेवाएं दे रही है और गुरुवार से इंस्टीट्यूट में इनडोर, इंटेंसिव केयर और इमरजेंसी सेवाएं शुरू हो जाएंगी। इस संस्था से गंभीर और पुरानी हेपेटाइटिस, सिरोसिस, लिवर कैंसर, अल्कोहलिक लीवर डिजीज, ऐसाईटस, अलग-अलग पैंक्रियाटिक बीमारियां और पित्त सम्बन्धी बीमारियाँ और अलग-अलग किस्मों की बिलियरी डिजीज वाले मरीज़ इस संस्था से इलाज करवा सकते हैं।   डॉ. बलबीर सिंह ने बताया कि यह राज्य का पहला सरकारी अस्पताल होगा जहाँ यू.जी.आई. एंडोस्कोपी, फाइब्रोस्कैन, एंडोस्कोपिक अल्ट्रासाउंड और ई.आर.सी.पी. जैसी बीमारियों का इलाज किया जायेगा। उन्होंने कहा कि यह संस्था पंजाब के सभी सरकारी अस्पतालों तक पहुँच के लिए टैलीमेडिसिन सेवाएं भी शुरू करेगी।   उन्होंने बताया कि इस संस्था में जल्द ही लीवर ट्रांसप्लांट की सुविधा भी शुरू होने की उम्मीद है।   बताने योग्य है कि इस मौके पर मुख्यमंत्री, पंजाब द्वारा फूड एंड ड्रग ऐडमिनिस्ट्रेशन, पंजाब के नये स्थापित राज्य और ज़ोनल दफ़्तरों का उद्घाटन भी किया जायेगा। इन दफ्तरों में फूड एंड ड्रग ऐडमिनिस्ट्रेशन, पंजाब का स्टेट हैडक्वाटर भी शामिल है- जिसका नाम बदल कर कमिश्नरेट, फूड एंड ड्रग्ज़ एडमिनिस्ट्रेशन रखा गया है और यह 2.63 करोड़ रुपए की लागत के साथ फेज 9 में स्थापित किया गया है, जब कि 278.01 लाख रुपए की लागत के साथ गुरदासपुर, जालंधर, बठिंडा और फिऱोज़पुर समेत चार ज़ोनल दफ़्तर स्थापित किये गए हैं।

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