स्कीम से 60,000 से अधिक कारोबारियों को होगा फ़ायदा
चंडीगढ़, 6 नवंबर
राज्य के व्यापारियों को दीवाली का तोहफ़ा देते हुये मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान के नेतृत्व में मंत्रीमंडल ने जी. एस. टी. लागू होने से पहले के बकाए का निपटारा करने के लिए एकमुश्त निपटारा स्कीम ( ओ. टी. एस.) लागू करने के लिए हरी झंडी दे दी है।
यह प्रगटावा करते हुये मुख्यमंत्री दफ़्तर के एक प्रवक्ता ने बताया कि जी. एस. टी. से पहले के बकाए का निपटारा करने के लिए ‘ रिकवरी आफ आऊटस्टैडिंग ड्यूज़ स्कीम- 2023’ को लागू किया गया है जिससे कानूनी मामलों का बोझ कम होगा। ओ. टी. एस. स्कीम 15 नवंबर, 2023 से लागू होगी और 15 मार्च, 2024 तक लागू रहेगी। वह करदाता जिनका टैक्स, जुर्माना और तारीख़ 31 मार्च, 2023 तक ब्याज एक करोड़ रुपए तक का है, वह इस स्कीम के अधीन निपटारा करने के लिए आवेदन देने के योग्य होंगे। ओ. टी. एस. एक लाख रुपए तक के बकाए के मामले में पूरी छूट प्रदान करेगा। ओ. टी. एस. स्कीम के अंतर्गत 31 मार्च, 2023 तक एक लाख रुपए तक के बकाए केस 39787 बनते हैं जो संपूर्ण तौर पर माफ होंगे। इसी तरह लगभग 19361 मामलों में 100 प्रतिशत ब्याज, 100 प्रतिशत जुर्माना और 50 प्रतिशत टैक्स की रकम की छूट मिलेगी।
मंत्रीमंडल ने 27 नवंबर को श्री गुरु नानक देव जी के प्रकाश पर्व के मौके पर ‘मुख्यमंत्री तीर्थ यात्रा स्कीम’ शुरू करने के लिए हरी झंडी दे दी है जिससे देश भर में विभिन्न तीर्थ स्थलों के दर्शनों के लिए जाने के लिए राज्य निवासियों को सफ़र की सुविधा मुफ़्त मिलेगी।
हरेक व्यक्ति की पवित्र स्थल श्री हजूर साहिब ( नांदेड़), श्री पटना साहिब ( बिहार), वाराणसी मंदिर, औयध्या और वृन्दावन धाम (उत्तर प्रदेश), श्री अजमेर शरीफ़ (राजस्थान) के इलावा श्री आनंदपुर साहिब, श्री अमृतसर साहिब, सालासर धाम, माता चिंतपूर्णी, माता वैष्णो देवी, माता ज्वाला जी जैसे स्थलों की यात्रा करने की इच्छा होती है। यात्रा पर जाने के लिए दो तरह के साधन होंगे। लम्बी दूरी के धार्मिक स्थानों के लिए यात्रा का साधन रेल गाड़ी और कम दूरी के लिए यात्रा का साधन सड़क के रास्ते बसों के द्वारा होगा।
मंत्रीमंडल ने शारीरिक तौर पर दिव्यांग हुए सैनिकों की एक्स-ग्रेशिया ग्रांट बढ़ाने का फ़ैसला किया है। इस फ़ैसले के मुताबिक शारीरिक तौर पर 76 प्रतिशत से 100 प्रतिशत तक दिव्यांग हुए सैनिकों के लिए एक्स- ग्रेशिया ग्रांट 20 लाख रुपए से बढ़ा कर 40 लाख रुपए कर दी। इसी तरह 51 प्रतिशत से 75 प्रतिशत तक दिव्यांग होने वाले सैनिकों के लिए एक्स-ग्रेशिया ग्रांट दोगुनी करके 10 लाख रुपए से बढ़ा कर 20 लाख रुपए और 25 प्रतिशत से 50 प्रतिशत तक दिव्यांग होने वाले सैनिकों के लिए एक्स- ग्रेशिया ग्रांट पाँच लाख रुपए से बढ़ाकर 10 लाख रुपए कर दी है। यह कदम पूर्व सैनिकों और उनके परिवारों के हितों की देखभाल करने और समाज में अच्छा जीवन व्यतीत करने को यकीनी बनाने के उद्देश्य के साथ किया गया है।
मंत्रीमंडल ने ‘दा ईस्ट पंजाब वार ऐवारडज़ एक्ट- 1948’ में संशोधन को मंजूरी दे दी है जिससे 83 लाभार्थियों की वित्तीय सहायता 10,000 रुपए सालाना बढ़ कर 20,000 रुपए सालाना कर दी है। पंजाब सरकार उन अभिभावकों को वित्तीय सहायता के तौर पर जंगी जागीर प्रदान करती है जिनके अकेले बच्चे या दो से तीन बच्चे दूसरे विश्व युद्ध, राष्ट्रीय एमरजैंसी 1962 और 1971 के दौरान ‘दा ईस्ट पंजाब बार ऐवारडज़ एक्ट- 1948’ के अंतर्गत भारतीय फ़ौज में सेवा निभा चुके हैं। इस सम्बन्ध में पंजाब सरकार की तरफ से ऐलान किया गया है कि जिन अभिभावकों के अकेले बच्चे या दो से तीन बच्चे जो दूसरे विश्व युद्ध, राष्ट्रीय एमरजैंसी- 1962 और 1971 के दौरान भारतीय फ़ौज में ‘दा ईस्ट पंजाब वार ऐवारडज़ एक्ट- 1948’ में सेवा निभा चुके हैं, को दी जाने वाली जंगी जागीर की राशि 10,000 रुपए सालाना से बढ़ा कर 20,000 रुपए सालाना किया जायेगी।
राजस्व विभाग के कामकाज को और सुचारू बनाने के लिए मंत्रीमंडल ने पटवारियों और कानूनगो का प्रांतीय काडर सृजन करने की मंजूरी दे दी है। इससे ज़मीन से सम्बन्धित राजस्व रिकार्ड तैयार करने और संभाल करने के इलावा पुराने राजस्व रिकार्ड की संभाल की जा सकेगी जिससे लोगों को बड़ी सुविधा मिलेगी। इस कदम से ज़मीनी रिकार्ड में कमियां होने के कारण होती मुकदमेबाज़ी को घटाने में मदद मिलेगी।
मंत्रीमंडल ने ठेका मुलाज़िम संघर्ष मोर्चा पंजाब, ज़मीन प्राप्ति संघर्ष कमेटी और अन्य गज़टिड और नॉन- गज़टिड एस. सी., बी. सी. इम्पलाईज़ वैलफेयर फेडरेशन पंजाब और अन्यों से सम्बन्धित सब-कमेटी के गठन और संशोधनों को कार्य-बाद मंजूरी दे दी है। जी. ओ. जी. से सम्बन्धित मसलों के लिए नुमायंदे और 31 सदस्यीय कोर कमेटी से जुड़े मुद्दों के लिए सब-कमेटी का गठन किया गया है।
मंत्रीमंडल ने पुलिस विभाग और विजीलैंस ब्यूरो, पंजाब की क्रमवार साल 2020 और 2022 की सालाना प्रशासिनक रिपोर्टों को मंजूरी दे दी है। सामाजिक सुरक्षा और महिला एवं बाल विकास की साल 2022- 23 और 2019-20 की सालाना प्रशासिनक रिपोर्टों को मंज़ूरी दे दी है।